Friday , 19 April 2024

जिंदगी की जंग हार गई बहादुर बेटी, सड़क पर उतरा विपक्ष

न्यूज़ टैंक्स- डेस्क

नई दिल्ली : वह बहादुर थी, अभी जीना चाहती थी, वह उन दरिंदों को सजा दिलाना चाहती थी, जिन्होंने पहले उसके शरीर को नोचा और फिर जिन्दा जला दिया। लेकिन बुरी तरह जली उन्नाव की निर्भया आखिरकार जिंदगी की जंग हार गई. शुक्रवार देर रात 11: 40 पर नई दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में उसकी मौत हो गई. अस्पताल के बर्न और प्लास्टिक सर्जरी विभाग के एचओडी डॉ. शलभ कुमार ने पीड़िता के निधन की पुष्टि करते हुए कहा कि रात करीब 11:10 पर पीड़िता के हृदय ने काम करना बंद कर दिया। डॉक्टरों की तमाम कोशिशों के बावजूद उसकी हालत में कोई सुधार नहीं हुआ और 11:40 पर उसका निधन हो गया. इससे पहले डॉक्टरों ने देर शाम को मेडिकल बुलेटिन जारी करते हुए कहा था की पीड़िता के शरीर के आंग काम करना बंद कर चुके है और उसे बचा पाना मुश्किल है.

वहीँ पीड़िता की मौत बाद सोशल मीडिया पर अपना गुस्सा जाहिर करने वाला विपक्ष सड़क पर उत्तर आया. देश की मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस की महसचिव प्रियंका गाँधी उन्नाव पहुंच गईं.

पीड़ित परिजनों से मिलतीं प्रियंका गाँधी

सरकार की तरफ से मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य और कमला रानी वरुण को पीड़िता के घर भेजा गया है. वहीँ दूसरी ओर लखनऊ में कांग्रेस कार्यकर्ता अपना विरोध प्रगट करने के लिए सड़क पर उतरे जहाँ उनपर पुलिस ने लाठी चार्ज कर दिया। उत्तरप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव भी विरोध-प्रदर्शन के लिए विधानसभा के सामने अपने समर्थकों संग धरने पर बैठ गए.

धरने पर बैठे अखिलेश यादव

विपक्षी नेताओं ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से इस्तीफे मांग की. पूर्वमुख्यमंत्री और बसपा सुप्रीमों मायावती ने इस मामले पर राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से मुलाकात किया. बसपा सुप्रीमों ने राज्यपाल को दिए पत्र में कहा है की राज्य में महिलाओं के साथ हो रही घटनाओ को देखते हुए तत्काल संवैधानिक दखल देने की जरूरत है.

 

राज्यपाल को ज्ञापन सौपतीं मायावती