Friday , 19 April 2024

जियो पर हो गया तीन लाख करोड़ का कर्ज, अंबानी हिस्सेदारी बेचने के हैं इच्छुकः खबर

एनटी न्यूज / लखनऊ डेस्क

क्या आपको पता है कि इस समय जियो पर तीन लाख करोड़ का कर्ज है. जी हां. आपको सस्ता इंटरनेट देने वाली कंपनी पर इस समय जबरदस्त कर्ज है. इसीलिए कारोबारी मुकेश अंबानी रिलायंस जियो में हिस्सेदारी बेचने के इच्छुक हैं. जापान का सॉफ्टबैंक जियो में लगभग तीन अरब डॉलर निवेश करने पर विचार कर रहा है.

जियो पर तीन लाख करोड़ का कर्ज

जापान का सॉफ्टबैंक दूरसंचार क्षेत्र की तेजी से बढ़ती कंपनी रिलायंस जियो में दो से तीन अरब डॉलर निवेश करने पर विचार कर रहा है. माना जा रहा है कि अरबपति कारोबारी मुकेश अंबानी कारोबार में हिस्सेदारी बेचने के इच्छुक हैं. आरआईएल ने टेलीकॉम क्षेत्र में प्रवेश के लिए रिलायंस जियो को पैसा दिया है. जिसके चलते कुल कर्ज तीन लाख करोड़ हो गया है. वित्तीय मामलों के जानकार का कहना है कि यह समझदार मार्केट पॉलिसी है.

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जेपी मॉर्गन ने रिपोर्ट में कही ये बात

जेपी मॉर्गन ने अपनी एक शोध रिपोर्ट में कहा कि, ‘सॉफ्टबैंक को लंबे समय से जियो में एक संभावित निवेशक के तौर पर देखा जा रहा है. पिछले दो साल में हमने कई निवेशकों से बातचीत की. जिसमें सॉफ्टबैंक के जियो में निवेश करने की संभावनाओं को उजागर किया गया है. ऐसे में यह खबर चौंकाने वाली नहीं है’. हालांकि यह देखना है कि सॉफ्टबैंक जियो में वास्तव में कितना पैसा निवेश करता है और क्या इसमें ई-वाणिज्य कारोबार को भी शामिल किया जाएगा?

इस खबर पर रिलायंस और सॉफ्टबैंक दोनों के ही प्रवक्ताओं ने टिप्पणी करने से इनकार किया है.

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अंबानी के कारोबार पर सऊदी अरामको की नजर

बता दें यह खबर ऐसे समय आई है जब सऊदी अरब की अरामको के रिलायंस इंडस्ट्रीज के रिफाइनरी एवं पेट्रोकैमिकल कारोबार में 25 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने की रिपोर्ट आ रही हैं. यह सौदा 10 से 15 अरब डॉलर का होने की उम्मीद है. सऊदी अरब की सबसे बड़ी तेल निर्यातक कंपनी सऊदी अरामको ने चार महीने पहले रिलायंस में रुचि दिखाई थी. इस मामले को लेकर सऊदी के राजकुमार मोहम्मद बिन सलमान ने फरवरी में अपने भारत दौरे के समय मुकेश अंबानी से मुलाकात भी की थी. जिसके बाद से ही बातचीत जारी है.

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रिलायंस का रिफाइनिंग और पेट्रोकैमिकल्स व्यवसाय

मामले की जानकारी रखने वालों का कहना है कि जून के आस-पास (मूल्य निर्धारण) पर समझौता हो सकता है. बता दें आरआईएल का रिफाइनिंग और पेट्रोकैमिकल्स व्यवसाय करीब 55 से 60 अरब डॉलर का है. बताया जा रहा है कि इस सौदे का सुझाव इन्वेस्टमेंट बैंकर गोल्डमैन सैक्स ने दिया है.

साभारः अमर उजाला

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